सुखकर्ता दुखहर्ता: गणपति आरती – मराठी, हिंदी और अंग्रेजी अनुवाद के साथ

Ganpati Aarati in Marathi
Spread the love

रचनाकार: संत समर्थ रामदास (1608–1681)

सुखकर्ता दुखहर्ता आरती भगवान गणेश को समर्पित एक पवित्र प्रार्थना है, जिसे गणेश चतुर्थी और अन्य शुभ अवसरों पर गाया जाता है। संत समर्थ रामदास द्वारा रचित यह भक्ति भजन भक्तों को बाधाओं को दूर करने और सुख-शांति प्राप्त करने के लिए प्रेरित करता है। ANTARJ.COM पर हम आपके लिए इस आरती के मूल मराठी बोल, अंग्रेजी लिप्यंतरण और हिंदी अनुवाद प्रस्तुत कर रहे हैं, ताकि आपकी आध्यात्मिक यात्रा और गहरी हो।

सुखकर्ता दुखहर्ता आरती – मराठी बोल (मूल)

सुखकर्ता दुखहर्ता आरती – अंग्रेजी लिप्यंतरण (English Transliteration)

सुखकर्ता दुखहर्ता आरती – हिंदी अनुवाद

पहला छंद

  • सुखकर्ता दुखहर्ता वार्ता विघ्नाची: हे गणपति, तुम सुख प्रदान करने वाले, दुख नष्ट करने वाले और सभी बाधाओं को हटाने वाले हो।
  • नुरवी पूर्वी प्रेम कृपा जयाची: तुम्हारी कृपा से प्रेम और आशीर्वाद हर दिशा में फैलता है।
  • सर्वांगी सुंदर उटी शेंदुराची: तुम्हारा शरीर सुंदर सिंदूरी लेप से सजा हुआ है।
  • कंठी झळके माळ मुक्ताफळाची: तुम्हारे गले में मोतियों की माला चमक रही है।
  • जय देव जय देव जय मंगलमूर्ती: हे मंगलमूर्ति, तुम्हें बार-बार नमन।
  • दर्शनमात्रे मनकामना पुरती: तुम्हारे दर्शन से ही मन की सारी इच्छाएँ पूरी हो जाती हैं।

दूसरा छंद

  • रत्नखचित फरा तूज गौरीकुमरा: हे गौरी के पुत्र, हम तुम्हें रत्नजड़ित आसन अर्पित करते हैं।
  • चंदनाची उटी कुंकुमकेशरा: तुम्हें चंदन का लेप और मस्तक पर कुमकुम का तिलक लगाया जाता है।
  • हिरे जडित मुकुट शोभतो बरा: हीरों से जड़ा मुकुट तुम पर शोभा देता है।
  • रुणझुणती नुपुरे चरणी घागरिया: तुम्हारे चरणों में पायल की झंकार गूँजती है।
  • जय देव जय देव जय मंगलमूर्ती: हे मंगलमूर्ति, तुम्हें बार-बार नमन।
  • दर्शनमात्रे मनकामना पुरती: तुम्हारे दर्शन से ही मन की सारी इच्छाएँ पूरी हो जाती हैं।

तीसरा छंद

  • लंबोदर पितांबर फनी वरवंदना: हे लंबोदर, पीले वस्त्र धारण करने वाले, सर्प तुम्हें प्रणाम करता है।
  • सरळ सोंड वक्रतुंड त्रिनयना: तुम्हारी सीधी सूंड, टेढ़ा दांत और तीन नेत्र (शिव के पुत्र) हैं।
  • दास रामाचा वाट पाहे सदना: तुम्हारा भक्त रामदास अपने घर में तुम्हारी प्रतीक्षा करता है।
  • संकटी पावावे निर्वाणी रक्षावे सुरवंदना: संकट में हमारी रक्षा करो, मोक्ष प्रदान करो और देवताओं का नमन स्वीकार करो।
  • जय देव जय देव जय मंगलमूर्ती: हे मंगलमूर्ति, तुम्हें बार-बार नमन।
  • दर्शनमात्रे मनकामना पुरती: तुम्हारे दर्शन से ही मन की सारी इच्छाएँ पूरी हो जाती हैं।

।। गणपती बाप्पा मोरिया ।।

सुखकर्ता दुखहर्ता का सार

संत समर्थ रामदास द्वारा रचित यह आरती केवल एक भजन नहीं, बल्कि भगवान गणेश के प्रति गहरी भक्ति का प्रतीक है। यह प्रार्थना भक्तों को बाधाओं से मुक्ति और जीवन में सुख-शांति के लिए प्रेरित करती है। गणेश चतुर्थी के उत्सवों में यह आरती समुदाय को एकजुट करती है और आध्यात्मिक ऊर्जा प्रदान करती है। ANTARJ.COM पर हम इस पवित्र प्रार्थना को आपके साथ साझा करते हैं, ताकि आप गणपति की कृपा से अपने जीवन को और समृद्ध कर सकें।

गणपति बाप्पा मोरिया! मंगलमूर्ति मोरिया!

Ganpati Aarati in Marathi
Complete Ganpati aarti in Marathi Language composed by Sant Ramdas in 16th century.

प्रातिक्रिया दे

आपका ईमेल पता प्रकाशित नहीं किया जाएगा. आवश्यक फ़ील्ड चिह्नित हैं *